देहरादून। सेंट्रल माईन पलानिंग एंड डिजाइन इन्स्टीट्यूट (सीएमपीडीआई), रॉंची, जोकोल इण्डिया लिमिटेड का एक सहायक संस्थान है, के वरिष्ठ अधिकारियों के लिए पारिस्थितिकी एवं जैवविविधता से संबंधित दो दिवसीय रिफ्रेशर कोर्स भारतीय वानिकी अनुसंधान एवं शिक्षा परिषद, देहरादून में बुधवार से प्रारम्भ हुआ। रिफ्रेशर कोर्स का आयोजन पर्यावरण प्रबंधन प्रभाग, विस्तार निदेशालय, भारतीय वानिकी अनुसंधान एवं शिक्षा परिषद, देहरादून द्वारा किया जा रहा है।
रिफ्रेशर कोर्स का उद्घाटन अरूण सिंह रावत, महानिदेशक, भारतीय वानिकी अनुसंधान एवं शिक्षा परिषद द्वारा किया गया। उन्होंने अपने उद्घाटन भाषण में पारिस्थिति की एवं जैव विविधता के महत्व पर प्रकाश डाला।उन्होंने इस अवसर पर भारतीय वानिकी अनुसंधान एवं शिक्षा परिषद, देहरादून और इसके संस्थानो ंद्वारा कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) और इसके सहायक संगठनों को पारिस्थितिकी एवं जैवविविधता और समग्र रूप से कोयला खदान पर्यावरण के प्रबंधन में प्रदान की गई सेवाओं के बारे में भी जानकारी दी। इस अवसर पर उपमहानिदेशक (विस्तार) ने खनन के संबंध में पारिस्थिकी और जैवविविधता के प्रबंधन के लिए सामयिक वैज्ञानिक तरीकों की आवश्यकता के बारे में बताया। उन्होंने खनन प्रभावित खेत्रों में मिट्टी और नमी संरक्षण और जैवविविधता के संवर्धन पर ज़ोर देते हुए खनन किए गए क्षेत्रों की उचित पर्यावरण बहाली पर भी जोर दिया गया।