देहरादून । पर्यटन मंत्री श्री सतपाल महाराज जी ने गुरूवार को उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद गढ़कैंट में पर्यटन विभाग के अधिकारियों के साथ पीपीपी मोड में विकसित किये जा रहे रोपवे परियोजनाओं की समीक्षा बैठक की। पर्यटन मंत्री सतपाल महराज ने पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर को निर्देश दिये कि झलपाडी से दीवाडांण्डा मंदिर तक बनने वाले रोपवे की शीघ्र कार्यवाही की जाये।
समीक्षा बैठक के दौरान पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर ने अवगत कराया कि चम्पावत में बनने वाले ठुलीगाड से पूर्णागिरी रोप वे परियोजना जिसकी लम्बाई 903 मीटर के लिए इंजीनियर नियुक्त किये जाने हेतु शासन से अनुरोध किया गया है। टिहरी गढ़वाल के अन्तर्गत आने वाले कद्दूखाल से सुरकण्डा देवी रोपवे परियोजना जिसकी लम्बाई 502 मीटर है निर्माण कार्य प्रगति पर है जिसको जून 2021 तक पूर्ण किये जाने का लक्ष्य रखा गया है। पर्यटन मंत्री ने पर्यटन सचिव को निर्देश दिये की शीघ्र रोपवे के कार्य पूर्ण किये जाये।
पर्यटन सचिव ने बताया कि देहरादून पुरूकुल से मसूरी लाईब्रेरी चैक तक 5.5 किमी0 लम्बे रोपवे के लिए निजी निवेशक का चयन किया गया है, निजी निवेशक के साथ अनुबन्ध निष्पादित किया जा चुका है। उनके द्वारा सर्वे आदि कार्यवाही की जा रही है। जिसके लिए वर्तमान में भूमि हस्तान्तरण तथा ईआईए एवं आईई नियुक्त किये जाने की कार्यवाही गतिमान है। वहीं घांधरिया से हेमकुण्ड साहिब चमोली में 2 किमी0 लम्बा बनने वाले रोप वे के लिए भी निजी निवेशक का चयन किया गया है, भूमि हस्तान्तरण की कार्यवाही गतिमान है। जानकी चट्टी से यमुनोत्री तक 3.38 किमी0 लम्बे रोपवे के लिए नये निजी निवेशक के चयन की कार्यवाही करने के सम्बन्ध में शासन से अनुमति प्राप्त हो गयी है। वहीं रानीबाग से नैनीताल/कालाढूंगी से नैनीताल 2 किलोमीटर रोपवे परियोजना हेतु भूमि चयन आदि की कार्यवाही गतिमान है। न्यू बस स्टैण्ड पौड़ी से क्यूंकालेश्वर मंदिर तक रोपवे परियोजना व कीर्तिखाल से भैरवगढ़ी मंदिर तक ब्रिडकुल द्वारा वर्णित रोपवे परियोजनाओं की डीपीआर तैयार करने के निर्देश दिये गये हैं। बैठक के दौरान उत्तराखण्ड मेट्रो रेल निगम के अधिकारियों द्वारा देहरादून से हरिद्वार मार्ग में प्रस्तावित मेट्रो रेल प्रौजेक्ट पर भी चर्चा की गयी।
पर्यटन मंत्री श्री सतपाल महाराज से देवभूमि लोक संस्कृति विरासतीय शोभा यात्रा समिति द्वारा कुम्भ महापर्व में देवडोली शोभायात्रा के लिए चर्चा की। कुम्भ महापर्व में 24 अप्रैल को देवडोलियां ऋषिकेश के त्रिवेणी घाट से एकत्रित होकर भव्य परिभ्रमण करने के पश्चात 25 अप्रैल को हर की पैड़ी तक लगभग 150 देवडोलियां, ध्वज तथा उनके साथ पर्वतीय क्षेत्र के पारम्परिक वाद्य यन्त्र, ढोल, दमाऊ, रणसिंहा आदि रहेंगे जिनकी संख्या पांच हजार के लगभग होगी।
समीक्षा बैठक के दौरान अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी अवस्थापना रोहित मीणा, पर्यटन निदेशक प्रशांत कुमार आर्य, अपर निदेशक पूनम चंद, उपनिदेशक योगेन्द्र कुमार गंगवार, एसएस सामंत सीनियर रिर्सच अधिकारी, अतुल भण्डारी डीटीडीओ पर्यटन विभाग, आरपी उनियाल जीएम सिविल ब्रिडकुल, मनोज पंवार उषा ब्रिको लि0, मनोज डोभाल, यूआईपीसी से सुनील कुमार, यूकेएमआरसी से बीके मिश्रा, ए0के0 त्यागी, डाॅ0 आरएस दुबे, आरपी सिंह व सर्वेश कुमार मौजूद रहे।