देहरादून डेस्क। मुख्यमंत्री श्री तीरथ सिंह रावत ने कहा कि प्रदेश में साहसिक पर्यटन की गतिविधियों को और विस्तार देने की आवश्यकता है। इस तरह का टूरिज्म प्लान तैयार किया जाए कि 12 माह पर्यटन सम्भव हो। प्रदेश के भीतर भी घरेलू पर्यटन को भी बढ़ावा दिया जाए। इंटरनेशनल एयरपोर्ट के लिए भी काम किये जाने की जरूरत है। मुख्यमंत्री सचिवालय में पर्यटन विभाग की समीक्षा कर रहे थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी चार धाम यात्रा, पर्यटन सीजन और साथ ही कोविड की स्थिति को देखते हुए पूरी तैयारियां की जाएं। हमें पर्यटन गतिविधियों को संचालित करना है और कोविड की गाईडलाईन का पालन भी करवाना है। इसके लिए पर्यटन से जुड़े सभी लोगों से बातचीत की जाए, उनके सुझाव और सहयोग लिए जाएं।
साहसिक पर्यटन केा बढ़ावा देने के लिए जगह-जगह एडवेंचर इवेंट्स आयोजित किए जाएं। होम स्टे के जरिए स्थानीय युवाओं को अधिक से अधिक जोड़ने के प्रयास किए जाएं। पर्यटन स्थलों पर पार्किंग सुविधाओं का विकास किया जाए। चार धाम यात्रा के लिए पुख्ता तैयारियां की जाएं। यात्रा मार्ग पर साफ सफाई व जनसुविधाएं सुनिश्चित की जाएं। टूरिस्ट सेफ्टी मेनेजमेंट सिस्टम पर काम किया जाए।
पर्यटन मंत्री श्री सतपाल महाराज ने कहा कि धार्मिक सर्किटों को विकसित करते हुए उनका व्यापक प्रचार प्रसार किया जाए। कोविड को देखते हुए पर्यटन के लिए जो भी गाईडलाईन बने, वह पूरी तरह से स्पष्ट होनी चाहिए। जहां तक सम्भव हो, पर्यटन व्यवसायियों के हित भी देखें जाएं।
सचिव पर्यटन श्री दिलीप जावलकर ने बताया कि सुरक्षित, सतत और समावेशी पर्यटन के उद्देश्य के साथ पर्यटन विभाग काम कर रहा है। प्रदेश में साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए पृथक से साहसिक पर्यटन विंग स्थापित की गई है। इको टूरिज्म विंग की कार्यवाही भी गतिमान है। ट्रैकिंग ट्रैक्शन योजना प्रारम्भ करते हुए ट्रैकिंग रूट पर होम स्टे को प्रोत्साहित किया जा रहा है। अंतराष्ट्रीय स्तर की साहसिंक खेल नियमावली बनाई गई है। अभी तक 3107 होम स्टे विभाग में पंजीकृत हैं। कद्दूखाल से सुरकंडा देवी, पुरकुल से मसूरी, घांघरियां से हेमकुण्ड साहिब और पूर्णागिरी रोपवे निर्माणाधीन या प्रस्तावित हैं। इसके अलावा और भी रोपवे पाईप लाईन में हैं।
बैठक में सचिव श्री अमित नेगी, श्री शैलेश बगोली, आयुक्त गढ़वाल श्री रविनाथ रमन भी उपस्थित थे।